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Wednesday, 16 January 2019

10 Benefits of Sunlight in Winter - जाने सर्दी में गुनगुनी धूप के बेहतरीन फायदे



हमारी धरती कई तरह के प्राकृतिक ससंसाधनों से भरी पड़ी है, जिसके चमत्कारिक गुणों से अनजान होने के कारण हम लोग इससे वंचित रहते हैं, यदि देखा जाए तो इन्हीं प्राकृतिक संसाधनों की कमी को पूरा करने में सूर्य की महत्वपूर्ण भूमिका होती है। इससे हमें कई तरह के विटामिन्स प्राप्त होते है, जो हमारी सेहत के लिए फायदेमंद होते है।
सर्दियों के मौसम में धूप मानो किसी वरदान से कम नहीं हैं। सर्दी के मौसम में गुनगुनी धूप सेंकने का अपना ही अलग मजा है। तो चलिए जानते हैं सर्दी की गुनगुनी धूप लेने से आपको क्या-क्या फायदे होते हैं-

1. हार्ट अटैक, कैंसर, हाई बीपी से राहत - Safety from Diseases
 


हमारे शरीर को दिनभर में 10 से 20 नैनोग्राम विटामिन D की आवश्यकता पड़ती है। जिसकी पूर्ति के लिए यदि आप ठंड के दिनों में धूप में बैठेंगी, तो आपके शरीर में होने वाली विटामिन डी की कमी पूरी हो जाएगी। यदि आप रोज निकलते सूर्य की किरणों के पास कुछ समय तक बैठेंगी तो निश्चिय ही शरीर की कई बीमारियों से छुटकारा पा सकती हैं। इससे बॉडी मास इन्डेक्स का स्तर कम होने से शरीर में कोलेस्ट्रॉल की मात्रा कम होने लगती है। जिससे हाई बीपी, कैंसर व हार्ट अटैक जैसी अन्य कई बीमारियों से राहत मिलती है।

2. अनिंद्रा की बीमारी से राहत - Benefit for Peaceful Sleep
 


धूप में बैठने से मेलाटोनिन नामक हॉर्मोन्स शरीर पर बनने लगते है, जो अनिंद्रा की बीमारी से राहत पहुंचाने का काम करता है। इससे तनाव सिरदर्द जैसी समस्या दूर होती है।



3.वजन कम होता है - Weight Management
 


धूप में बैठने से शरीर में बीएमआई का स्तर कम होने लगता है, जिससे शरीर में कोलेस्ट्रॉल भी घटने लगता है, जो हमारे वजन को कम करने में मदद करता है।   

4. मजबूत हड्डियां - Strong Mussels
 


धूप में बैठने से शरीर की सिकाई होती है और इससे अंदरूनी दर्द से शरीर को राहत मिलती है। इसके अलावा इससे मिलने वाले तत्व शरीर की हड्डियों को मजबूत करने में मदद करते हैं।

5. रोगप्रतिरोधक क्षमता को बढ़ता है - Increase Immunity System
 


हमारे शरीर का इम्‍यून सिस्‍टम यदि कमजोर हो जाता है तो शरीर में कई तरह की बीमारियों का बढ़ना शुरू हो जाता है। इसलिए शरीर को मजबूत बनाए रखने के लिए सूर्य की किरणों से शरीर को गर्माहट प्रदान करना सबसे जरूरी है। क्योंकि सूर्य से निकलने वाली अल्‍ट्रावॉयलेट किरणें हमारे शरीर के इम्‍यूनिटी पावर को मजबूत बनाए रखने में मदद करती है। जिससे कई खतरनाक बीमारियों से बचा जा सकता है।

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6. फंगल इंफेक्शन - Benefit for Fungal Infection 


अगर शरीर में किसी तरह का फंगल इंफेक्शन हो जाए तो धूप में जरूर बैठें। क्योंकि धूप में बैठने से बैक्टीरियल इंफेक्शन खत्म हो जाता है। इसलिए धूप स्किन की समस्याओं से राहत दिलानें में बहुत ही कारगार साबित होती है।

7. दिमाग को स्‍वस्‍थ रखें - For Mental Health
 


सूर्य से निकलने वाले किरणों में विटामिन डी की भरपूर मात्रा पाई जाती है, जो हमारे शरीर के साथ दिमाग को भी स्वस्थ रखने में मदद करती है। इससे तनाव और सीजोफ्रेनिया जैसी बीमारी के खतरे कम होते हैं। यह दिमाग को संतुलित कर उसे शांति प्रदान करने का काम करता है। गर्भवस्था के दौरान हर महिला को धूप सेंकनी चाहिए, इससे बच्चे का विकास अच्छा होता है।

8. नपुंसकता दूर करें - Increase Fertilizer Power
 


यदि पुरुष में नपुसकता के लक्षण दिखाई दे रहें हों तो उनके लिए सूर्य की किरणें एक रामबाण दवा की तरह है। धूप में बैठकर शरीर की सिकाई करने से शुक्राणुओं की गुणवत्ता बढ़ती है। सूर्य से मिलने वाला विटामिन उनकी नपुंसकता को दूर करने में मदद करता है एवं टेस्टोस्टोरोन हार्मोन को बढ़ाकर उनके शुक्राणुओं को विकसित करने में मदद करता है।


9. आंखों की रोशनी तेज होती है - Benefit for Eyesight




सुबह के सूर्य की किरणों से रोज आंखों को सेकने से नैत्र रोशनी बढ़ती है। इससे आंखों का चश्मा भी दूर हो जाता है।

10. पीलिया ठीक होता है - Benefit in Jaundice
 


सूर्य की किरणें पीलिया जैसे खतरनाक रोग को दूर करने में सहायक होती है। इसलिए इस बीमारी के समय मरीज को रोज थोड़े ही समय के लिए ही पर सूर्य की किरणों की सिकाई जरूर करनी चाहिए।


10 Healthy Tips For Winter Season - 
सर्दियों में स्वस्थ रहने के लिए अपनाएं ये 10 तरीके

Tuesday, 27 November 2018

9 Home Remedies for Diabetes are very useful


मधुमेह चयापचयी विकारों से पनपने वाला रोग है जो शरीर की इन्सुलिन पैदा करने या इन्सुलिन का उपयोग करने की क्षमता को प्रभावित करता है। तेजी से बदल रहे परिवेश और रहन-सहन ने देश और दुनिया में मधुमेह के मरीजों की संख्या में इजाफा किया है। हालांकि खान-पान पर नियंत्रण कर व कुछ घरेलू उपचार व नुस्खों की मदद से इस रोग का सामना किया जा सकता है। चलिये जानें कैसे.....

1.तुलसी के पत्ते -Leaf of Basil
 


तुलसी के पत्तों में काफी एन्टीऑक्‍सीडेंट व बाकी जरूरी तत्व मौजूद होते हैं जो इजिनॉल, मेथिल इजिनॉल और कैरियोफ़ैलिन बनते हैं। ये सारे तत्व मिलकर इन्सुलिन जमा करने वाली और छोड़ने वाली कोशिकाओं को ठीक से काम करने में मदद करते हैं। अतः शुगर के स्तर को कम करने के लिए रोज दो से तीन तुलसी के पत्ते खाली पेट लें। आप इसका जूस भी ले सकते हैं।
2.गेहूं के जवारे-Wheatgrass
 


गेहूं के पौधों में रोगनाशक गुण समाए होते हैं। गेहूं के छोटे-छोटे पौधों का रस असाध्य बीमारियों को भी मिटा सकता है। इसके रस को ग्रीन ब्लड के नाम से भी जाना जाता है। गेहूं के जवारे का आधा कप ताजा रस रोगी को रोज सुबह-शाम पिलाने से डायबिटीज में लाभ होता है। 



3.मेथी-Fenugreek
 



मधुमेह के उपचार के लिए मेथीदाने के प्रयोग भी लाभदायक होता है। यदि कारण है कि दवा कंपनियां भी मेथी के पावडर को बाजार में लाई हैं। उपयोग के लिए मेथीदानों का चूर्ण बना लें और रोज सुबह खाली पेट दो टी-स्पून चूर्ण पानी के साथ फंकी कर लें। कुछ दिनों में आपको लाभ महसूस होने लगेगा।

4.अलसी के बीज -Flax Seed




अलसी के बीजों में फाइबर प्रचर मात्रा में पाया जाता है जो पाचन में तो मदद करता ही है साथ ही फैट और शुगर के अवशोषण में भी सहायक सिद्ध होता है। अलसी के बीजों के आटे के सेवन से मधुमेह के मरीजों में शुगर की मात्रा लगभग 28 प्रतिशत तक कम हो सकती है।

5.दालचीनी-Cinnamon
 


दालचीनी इंसुलिन की संवेदनशीलता को ठीक करने के साथ-साथ ब्लड ग्लूकोज के स्तर को भी कम करता है। आधी चम्मच दालचीनी रोज लेने से इंसुलिन के प्रति संवेदनशीलता को ठीक किया जा सकता है और वज़न को नियंत्रित करने में मदद मिलती है।

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6.ग्रीन टी-Green Tea
 


ग्रीन टी में पॉलीफिनोल्स काफी होते हैं। ये पॉलीफिनोल्स एक मजबूत एंटी-ऑक्सीडेंट और हाइपो-ग्लाइसेमिक तत्व होते हैं, इससे ब्लड शुगर को मुक्त करने में सहायता मिलती है और शरीर इन्सुलिन का बेहतर ढंग से इस्तेमाल कर पाता है।

7.नीलबदरी के पत्ते-Leaves of Bilberry
 


आयुर्वेद में नीलबदरी के पत्ते का उपयोग मधुमेह के उपचार में सदियों से होता रहा है। जर्नल ऑफ न्यूट्रीशन के मुताबिक इसकी पत्तियों में एंथोसियानीडीनस काफी मात्रा में होते हैं जो चयापचय की प्रक्रिया और ग्लूकोज़ को शरीर के विभिन्न भागों तक पहुंचाने की प्रक्रिया को बेहतर करता है।

8.सहजन के पत्ते-Leaves of Drumstick
 


सहजन के पत्तों को मोरिंगा भी कहा जाता है। इसके पत्तों में दूध की तुलना में चार गुना अधिक कैलशियम और दो गुना प्रोटीन पाया जाता है। मधुमेह के रोगियों द्वारा सहजन के पत्तों के सेवन से भोजन के पाचन को बेहतर और रक्तचाप को कम करने में मदद मिलती है।





9.करेला-Bitter Gourd
 


करेले में इन्सुलिन-पोलिपेपटाइड पाया जाता है, साथ ही ये एक ऐसा बायो-कैमिकल तत्व है जो ब्लड-शुगर को कम करने में कारगर है। इसीलिये प्राचीन काल से करेले को मधुमेह की औषधि के रूप में उपयोग किया जाता है। एक सप्ताह में कम से कम एक बार करेले की सब्जी खाएं। बेहतर परिणामों के लिए खाली पेट करेले का जूस पियें। 




Tuesday, 4 September 2018

Aloe Vera Best For Health and Beauty - स्वास्थ्य हो या खूबसूरती, हर चीज के लिए बेस्ट है एलोवेरा



एलोवेरा को घृतकुमारी के नाम से भी जाना जाता है। इसमें एमीनो एसिड और 12 विटामिन भरपूर मात्रा में मौजूद होते हैं। यह शरीर में खून की कमी को दूर करता है और शरीर की रोग-प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाता है। यह जितना आपके स्‍वास्‍थ्‍य के लिए लाभप्रद होता है उतना ही आपके बालों और त्वचा के लिए भी। आइए जानें ऐलोवेरा का हमारे स्‍वास्‍थ्‍य पर कितना अच्‍छा प्रभाव पड़ता है।
एलोवेरा के फायदे Benefit of Aloe Vera

1.Safety From Sun Burn - सनबर्न से बचाएं
 


एलोवेरा का रस सनस्‍क्रीन का काम करता है। धूप में निकलने से पहले एलोवेरा का रस अच्छी तरह से अपनी त्वचा पर लगाने से सूरज की हानिकारक किरणें आपकी त्‍वचा को नुकसान नहीं पहुंचा पातीं।

2.Healing Power - जलने या चोट में फायदेमंद
एलोवेरा 


अपने एंटी बैक्टेरिया और एंटी फंगल गुण के कारण घाव को जल्दी भरता है। चोट लगने या जलने पर इसका जेल निकाल कर लगाने से आराम मिलता है। जलने के तुरन्‍त बाद इसके जेल को लगा लेने से छाले नहीं पड़ते और साथ ही जलन भी समाप्‍त हो जाती है।







3.Weight Management - वजन नियंत्रण में सहायक
 

अगर आप का वजन बढ़ रहा है और इसके कारण आप हमेशा आलस और थकान का अनुभव भी कर रहे हैं तो एलोवेरा जूस का सेवन करें। एलोवेरा जूस को नियमित रूप से पीने से आप भरपूर तंदुरुस्ती का अहसास करते है। इससे एनर्जी लेवल भी बढ़ता है और वजन नियंत्रित रहता है।

4.Improve Digest System - पाचन क्रिया बनाएं दुरूस्‍त

एलोवेरा जूस पीने से पेट की कई रोग दूर होते हैं। यह पाचन तंत्रिका को मजबूत बनाता है। इसके रोजाना उपयोग से अपच और कब्‍ज जैसी समस्‍या भी दूर रहती है। पेट में पैदा होने वाले अल्‍सर को भी यह ठीक करता है।

5.Remove Stretch Marks - स्‍ट्रेच मार्क हटाए


मोटापे और प्रेगनेंसी के कारण हुए स्‍ट्रेच मार्क में भी एलोवेरा उपयोगी होता है। स्‍ट्रेच मार्क को हल्‍का करने के लिए रोज सुबह एलोवेरा जैल से मालिश करें । यह काफी हद तक आपके स्‍ट्रेच मार्क को कम कर देगा।


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6.Remove Wrinkles - झुर्रियों से बचाव


झुर्रियों आपको समय से पहले बूढ़ा बना देती हैं इससे बचने के लिए रोजाना एलोवेरा जॅल से मालिश कीजिये। यह त्‍वचा को अंदर से मॉइश्‍चराइज करता है। इसका रस स्‍किन को टाइट बनाता है और इसमें मौजूद विटामिन सी और ई के कारण त्‍वचा हाइड्रेट भी बनी रहती है।

7.Benefit for Heart - दिल की बीमारी में फायदेमंद


एलोवेरा शरीर में रक्‍त की मात्रा बढ़ाता है और साथ ही रक्‍त प्रवाह को भी सुचारू बनाये रखने में मदद करता है। एलोवेरा हाई ब्‍लड प्रेशर को सामान्‍य करता है, जिससे हार्ट अटैक का खतरा कम होता है।

8.Benefit in Hair Problem - बालों की समस्‍याओं में उपयोगी
 

बालों के लिए एलोवेरा चमत्‍कारी रूप से असर दिखाता है। बालों संबंधी जितनी भी समस्याएं हैं एलोवेरा के प्रभाव से दूर हो जाती हैं जैसे- बालों का गिरना, रूखे बाल, बालों में डेंड्रफ आदि। हफ्ते में दो बार शैंपू करने से पहले चमेली, जोजोवा या नारियल तेल में एलोवेरा का यह रस मिलाकर अच्छी तरह से अपने बालों में लगाएं।




9.Shining Skin - बढ़ाए त्‍वचा की चमक


एलोवेरा शरीर से विषैले पदार्थों को बाहर निकाल कर शरीर की अंदर से सफाई करता है। जिससे त्‍वचा में चमक आती है तथा दाग-धब्‍बों से भी दूर होते है। इसके अलावा एलोवेरा के जैल को त्‍वचा पर लगाने से एक्‍जिमा, पिंपल और सिरोसिस की समस्‍या भी दूर होती है।

10.Benefit for Teeth - स्वस्थ और स्वच्छ दांत


एलोवेरा, मुंह और मसूड़ों के लिए बहुत फायदेमंद होता है। इसके इस्‍तेमाल से मसूड़ों की तकलीफ और ब्‍लड आना बंद होता है। साथ ही मुंह में अल्‍सर की बीमारी भी ठीक होती है। इसे आप अपने दांत के डॉक्टर के रूप में भी अपना सकते हैं।



Friday, 27 July 2018

Benefit of Purple color Fruits & Vegetables - बैंगनी रंग के फल और सब्जियां हैं सेहत का खजाना


जब आप सब्जी लेने जाते हैं, तो किन बातों का ध्यान सबसे ज्यादा रखते हैं? यही न कि सब्जी ताजी और फ्रेश हो। ज्यादातर लोग सब्जियों को चुनते समय ये नहीं सोचते हैं कि किस सब्जी से उन्हें क्या फायदे मिलते हैं। क्या आप जानते हैं कि सब्जियों का खास रंग उनमें मौजूद पोषक तत्वों की तरफ इशारा करता है। जैसे- बैंगनी रंग यानि पर्पल कलर की सब्जियां खाना आपके सेहत के लिए कई तरह से फायदेमंद होता है क्योंकि इनमें ढेर सारे पौष्टिक तत्व और मिनरल्स होते हैं।
Purple color Fruits & Vegetables - बैंगनी रंग के फल और सब्जियां


बैंगनी रंग के तमाम फल और सब्जियां उपलब्ध हैं, जैसे- बैंगन, प्याज, काला अंगूर, चुकंदर, जामुन, काली गाजर, शहतूत, फालसा, ब्लूबेरीज, नीली पत्ता गोभी, नीली फूल गोभी आदि। ये सभी सब्जियां फायदेमंद होती हैं क्योंकि इनमें एंटीऑक्सीडेंट्स की मात्रा ज्यादा होती है। दरअसल जिन फलों और सब्जियों का रंग जितना गहरा होता है उनमें मिनरल्स और एंटीऑक्सीडेंट्स की मात्रा उतनी ज्यादा होती है।

1.For Healthy Ageing - कम होते हैं उम्र का प्रभाव दिखाने वाले लक्षण


बैंगनी रंग के फल और सब्जियों की खास बात ये है कि इनमें एंटी-एजिंग गुण होते हैं यानि अगर आप इनका सेवन करते हैं, तो इससे उम्र का प्रभाव दिखाने वाले लक्षण जैसे- झुर्रियां, झाइयां, आंखों के नीचे काले घेरे आदि कम होते हैं। इसलिए अगर आप चाहते हैं कि आपकी त्वचा आपकी उम्र से जवान लगे, तो बैंगनी रंग के फल और सब्जियों का सेवन ज्यादा करें।



2.For Control Blood Pressure - ब्लड प्रेशर करता है कम


बैंगनी रंग के फल और सब्जियां आपका ब्लड प्रेशर कंट्रोल करने में भी सहायक हैं। अगर आपको हाई ब्लड प्रेशर की समस्या है, तो आपको बैंगन, काले अंगूर, चुकंदर और नीले पत्ता गोभी आदि का सेवन ज्यादा करना चाहिए। बैंगनी सब्जियों में फ्लैवोनॉइड होते हैं, जो ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने में मदद करते हैं। फ्लैवोनॉइड वाले आहारों के सेवन से कई तरह के कैंसर से भी बचाव रहता है।

3.Benefit for UTI (Urinary tract infection) - यूटीआई से भी बचाव


पर्पल सब्जियों के खाने से यूटीआई यानी यूरिनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन से भी बचाव रहता है। इसका कारण ये है कि बैंगनी रंग की सब्जियों में एंथोक्यानिन नामक एंटीऑक्सीडेंट होता है, जो बैक्टीरिया और संक्रमण को रोकता है। इससे शरीर के अन्य प्रकार के संक्रमण से भी बचाव रहता है। इसलिए अगर आपको किसी तरह का इंफेक्शन है, तो बैंगनी फल और सब्जियों का सेवन शुरू कर दें। बरसात के मौसम में संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है।
4.Benefit For Heart - दिल के लिए फायदेमंद


स्वस्थ शरीर के लिए सबसे ज्यादा जरूरी है आपके दिल का स्वस्थ रहना। अगर आप अपने आहार में बैंगनी सब्जियों को भी शामिल करते हैं, तो इससे आपका दिल भी स्वस्थ रहता है। इन फलों और सब्जियों में कई ऐसे एंटीऑक्सीडेंट्स होते हैं, जो दिल की बीमारियों से बचाते हैं और बैड कोलेस्ट्रॉल के लेवल को कम करते हैं।



5.Protects Lever - लिवर की सुरक्षा और अन्य रोगों में फायदेमंद


ब्लैक राइस में ब्लूबेरीज से भी ज्यादा एंथोक्यानिन होता है इसलिए इसका सेवन भी आपके लिए बहुत फायदेमंद है। बैंगनी रंग के फल, सब्जियों और अनाजों में फ्लैवोनॉइड, रेस्वेराट्रॉल, पॉलीफेनॉल्स आदि कई महत्वपूर्ण एंटीऑक्सीडेंट्स होते हैं इसलिए इनके सेवन से आपका लिवर सुरक्षित रहता है और अन्य कई रोगों जैसे- डायबिटीज, अर्थराइटिस, ऑटो इम्यून रोगों से भी बचाव रहता है।

Source : Onlymyhealth.com

Monday, 9 July 2018

Health Care In Rainy Season - मानसून में सेहत का रखें खास ख्‍याल


मानसून अपने साथ बहुत सारी खुशियां और बदलाव लाता है। ये चिपचिपाती और चूभती से राहत देने के साथ ही पूरा वातावरण हरा-भरा कर देता है। मानसून का मौसम हर किसी को बहुत पसंद आता है। क्योंकि यह रोमांटिक और एडवेंचरस दोनों होता है। आसामान में बादल छाए रहते हैं, धूप का नामोनिशान नहीं होता और हर जगह हरियाली ही हरियाली, जो आंखों के साथ मन को भी सुकून देती है। 


लेकिन मानसून का मजा लेना है तो पूरी तरह से फिट रहना भी जरूरी है। क्योंकि मानसून गर्मी से तो राहत देता है लेकिन अपने साथ कई सारी बीमारियां भी लाता है। मानसून के दौरान बीमारियां होना लाजमी हैं। लेकिन यह भी सच है कि आप मानसून का मजा भी तभी ले सकते हैं जब आप पूरी तरह से फिट हो। फिट रहकर आप बीमारियों से बच सकते हैं,साथ ही आप फुर्तीले भी रहेंगे जिससे आप मानसून का बिना किसी डर के मजा ले सकें। आइए जानें मानसून में फिट रहने के फंडों के बारे में।

जरूरी चीजे साथ रखें


मानसून से बचने के लिए जरूरी चीजें हमेशा अपने साथ रखें। क्योंकि मानसून में बारिश का भरोसा नहीं होता है। बारिश कभी भी हो सकती है। अचानक होने वाली बारिश से बचने के लिए हमेशा अपने पास छाता रखें। घर से बाहर नकलें तो रेन-कोट ऱखना ना भूलें। 

स्ट्रीट-फ़ूड से बचें
बाहर ठेले पर मिलने वाले स्ट्रीट फुड से परहेज करें। ये फुड भले ही चटपटे दिखते  हैं लेकिन इसमें कई सारे कीटाणु होते हैं जो जल्दी बीमार करते हैं। कई बार तो बारिश का पानी तेल में भी मिल जाता है जो ज्यादा नुकसान पहुंचाता है। बाहर के खाने से परहेज करें। बाहर पानी भी मत पिएं।

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मच्छरों  से बचें
मानसून में मच्छर पनपने शुरू होते हैं। ऐसे में कई सारे बीमारियां मच्छरों के वजह से होना शुरू हो जाते हैं। बरसात के मौसम में पानी के जमा होने से मच्छर पैदा होने सुरू हो जाते हैं। अपने घर में कूलर के पानी को अच्छे से जाँच ले और रोज़ाना उस पानी को बदलें। घर के अन्य क्षेत्र जैसे कि फूल के बर्तन, एक्वैरियम और कुएं में भी पानी एकत्रित रहता है। इन्हे किसी कीटाणुनाशक के प्रयोग से साफ़ करें और ढक कर रखे।


बच्चों का रखें खास ख्याल-
बरसात के मौसम और बचपन की यारी तो बहुत खूब होती है। हवा के तेज झोंकों के साथ बारिश होना.. ऐसे में भला किसका दिल नहीं चाहेगा इस मौसम का आनंद उठाने का। और बच्‍चे उनकी तो बात ही कुछ और है। उनके लिए तो बारिश कुछ ज्यादा ही खास होती है। वे खेल-खेल में ही बार-बार अपने कपड़े गीला करते हैं। लेकिन एक ओर जहां यह बरसात ठंडक और मस्‍ती लेकर आती है, वहीं साथ ही यह अपने साथ लाती है ढ़ेरों बीमारियां।  ऐसे में पैरेट्स जरा सी सावधानी बरतें तो बच्चे भी खुलकर इस मौसम का मजा उठा सकते हैं। 


  • बच्‍चों को बारिश में ज्यादा न भीगने दें।
  • बच्‍चों को ज्‍यादा देर भीगे हुए कपड़ों में न रहने दें।
  • अगर बच्‍चे बरसात में भीग भी जाते हैं तो उनका सिर और बदन अच्‍छे से पोंछकर रखें।
  • बाजार में बिकने वाली खुली चीजों को बच्‍चों को बिल्‍कुल ना खाने दें। इसके अलावा कच्चा और ठंडा खाना भी ना खिलाएं।
  • बच्‍चों को पानी उबालकर या फिल्‍टर करके ही दें। स्कूल जाने वाले बच्चों को इस मौसम में घर से पानी की बोतल देकर ही भेजे।
  • बच्‍चों के हाथों एवं नाखूनों की सफाई पर विशेष ध्यान दें।
  • बच्चों में हर बार खाना खाने से पहले और खाना खाने के बाद साबुन से हाथ धोने की आदत डालें।
  • मच्छरदानी का प्रयोग जरूर करें।
  • जॉन्डीस से बचाने के लिए छोटे बच्चों को टीका लगवाना ना भूले।
  • तीन-तीन साल के अंतराल पर बच्चों को टायफाइड का टीका लगवाएं।
  • इस मौसम में सूती कपड़े बच्‍चों के लिए ज्‍यादा अच्‍छे रहेंगे।
  • छोटे बच्चों की स्किन बहुत सेंसेटिव होती है, लिहाजा उन्हें नहलाने के बाद कोई भी लोशन बिना चिकित्‍सीय सलाह के न लगाएं। इससे रैशेज हो सकते हैं।
  • इस मौसम में मच्छरों की भरमार होती है, इसलिए बच्चों को फुल पैंट या पूरी बाजू के कपड़े पहनाएं।



Tuesday, 12 June 2018

11 Benefits of Watermelon in Summer - गर्मी में क्‍यों खाना चाहिए तरबूज




Benefit of Water Melon - तरबूज के स्वास्थ्य लाभ
गर्मियों का फल तरबूज न केवल खाने में स्वादिष्ट होता है, बल्कि बहुत पौष्टिक भी होता है। अध्ययन के अनुसार, इस गहरे लाल रंग के फल को लाइकोपीन का राजा भी कहा जाता है। तरबूज में 92 प्रतिशत पानी और 8 प्रतिशत शुगर होती है। यह शरीर में पानी की कमी को पूरा करता है। यह विटामिन ए, सी और बी6 का सबसे बडा़ स्त्रोत है। इसमें मौजूद बीटा कैरोटीन के कारण यह सेल को रिपेयर कर हृदय रोग के खतरे को कम करता है। तरबूज में एंटी-ऑक्सीडेंट भी भरपूर मात्रा में होता है, रिसर्च के अनुसार, तरबूज, वजन कम करने, आंखों, बालों, त्वचा के लिए बहुत फायदेमंद होता है। और यह पेट के कैंसर, हृदय रोग और मधुमेह से भी बचाता है।
1.For Heart Benefit - दिल को स्‍वस्‍थ और फिट रखें



तरबूज में मौजूद पोटेशियम जैसा पोषक तत्‍व दिल को स्‍वस्‍थ और फिट रखने के लिए बहुत महत्‍वपूर्ण होता है। डब्ल्यूएचओ के अनुसार, दिल को स्‍वस्‍थ रखने के एक वयस्क को एक दिन में 3,510 मिलीग्राम पोटेशियम उपभोग करना चाहिए।

2.For Eyes Benefit - आंखों के लिए फायदेमंद



इसका नियमित सेवन आंखों के लिए बेहद फायदेमंद होता है। तरबूज में बीटा कैरोटीन और विटामिन ए की मौजूदगी आंखों के स्‍वास्‍थ्‍य के लिए अच्‍छी होती है। इसके सेवन से रतौंधी और मोतियाबिंद जैसे रोगों से बचाव में मदद मिलती है।



3.Benefit For Immune System - प्रतिरक्षा प्रणाली में मजबूती



तरबूज में विटामिन सी भरपूर मात्रा में पाया जाता है। विटामिन सी हमारे शरीर के प्रतिरोधी क्षमता को मजबूत बनाता है, जिससे हम बुखार व संक्रमण से दूर रहते हैं।

4.For Skin & Hair Benefit - त्‍वचा और बालों के लिए



विटामिन सी का पर्याप्त सेवन कोलेजन के निर्माण और रखरखाव के लिए आवश्यक होता है। यह त्वचा और बालों के लिए संरचना प्रदान करता है। तरबूज शरीर को हाइड्रेट करने में मदद करता है जो त्वचा और बालों को स्‍वस्‍थ रखने के लिए महत्वपूर्ण होता है। 

5.Benefit For Muscles - मांसपेशियों के लिए फायदेमंद



तरबूज में पोटेशियम अच्छी मात्रा में होता है जो शरीर में नर्वस सिस्टम और मांसपेशियों की सेहत के लिए जरूरी है। इसके सेवन से मांसपेशियों से जुड़ी समस्याओं से बचा जा सकता है। साथ ही तरबूज और तरबूज का रस मांसपेशियों के दर्द को कम करने में मदद करता है।

6.For Young Skin - तरबूज खाने से त्वचा जवां रहती है



तरबूज में पानी की मात्रा बहुत अधिक और फ्लेवनॉयड्स और कैरीटोनॉयड्स नामक तत्व त्वचा के कसाव को बरकरार रखने में मदद करते हैं इसके अलावा यह लंबे समय तक झुर्रियों को दूर रखने में मददगार होता हैं।
7.For Asthma Prevention - अस्थमा की रोकथाम



अस्‍थमा के विकास का जोखिम उन लोगों में कम होता है जो पोषक तत्‍वों की उच्‍च राशि का उपभोग करते हैं। इन पोषक तत्‍वों में से एक विटामिन सी है जो तरबूज में पाया जाता है।

8.Benefit For Cancer Disease - कैंसर



तरबूज मजबूत एंटीऑक्‍सीडेंट विटामिन सी और अन्‍य एंटीऑक्‍सीडेंट का अच्‍छा स्रोत है, यह कैंसर का कारण माने जाने वाले मुक्त कण के गठन से निपटने में मदद करता है। कई अध्ययनों में लाइकोपीन के सेवन को प्रोस्टेट कैंसर की रोकथाम के साथ जोड़ा गया है।

9.Help in Digestion - पाचन में मददगार



तरबूज पानी और फाइबर से भरपूर होने के कारण, कब्‍ज को रोकने और एक स्वस्थ पाचन तंत्र के लिए नियमितता को बढ़ावा देने में मदद करता है।



10.For Weight Management - वजन घटाने में फायदेमंद



तरबूज वजन घटाने के लिए सबसे बेहतर फल है। तरबूज में मौजूद सिट्रयूलाइन नामक तत्व शरीर से वसा को कम करने में मददगार होता है। ये वसा बनाने वाली कोशिकाओं को कम करता है। तरबूज में पानी की अधिक मात्रा डाइटिंग के दौरान एक बेहतरीन विकल्प हो सकता है। तरबूज में इसके अलावा विटामिन और मिनरल भी होता है। 

11.For Hydration - हाइड्रेट करता है



तरबूज 92 प्रतिशत पानी और महत्वपूर्ण इलेक्ट्रोलाइट्स से पूर्ण होता है, इसलिए गर्मियों के दौरान डिहाइड्रेशन को रोकने के लिए तरबूज एक अच्‍छा नाश्‍ता हो सकता है।